1.“दूरियां” कभी किसी रिश्ते को तोड़ नहीं सकती और “नजदीकियॉ” कभी रिश्ते को बना नही सकती
अगर भावनायें “सच्चे ह्रदय” से हो तो “दोस्त” दोस्त ही रहते हैं फिर चाहे वे मीलों दूर क्यों ना हो
2. ईश्वर ने हमें दो “अमूल्य उपहार” दिये है “समय” और “सांसे”
दोनों ही “निश्चित” और “सीमित” है समझदारी से “खर्च” करे
3. ईश्वर टूटी हुई चीज से बहुत सुन्दरता से काम लेते है
बादल टूटते हैं तो बारिश होती है
मिट्टी टूटती है खेत बनते हैं
फसल टूटती है तो अनाज बीज बनता है
बीज टूटता है तो नया पौधा बनता है
इसलिए जब भी अपने को टूटा हुआ महसूस करें तो समझ लीजिए ईश्वर हमारा उपयोग बेहतर करना चाहता है
4. ज़रूरत से ज़्यादा मिले उसको कहते हैं “नसीब”
सब कुछ होने पर भी जो रोता है उसको कहते हैं “बदनसीब”
और जो थोड़ा कम पाकर भी हमेशा ख़ुश रहे उसको कहते हैं “खुशनसीब”
5. पत्तों सी होती है कई “रिश्तो” की उम्र
आज “हरे” कल “सूखे”
क्यों ना हम “जड़ों” से सीखे “रिश्ते” निभाना
6. रिश्ते भी “इमारत” की तरह होते हैं
हल्की फुल्की “दरारें” नज़र आए तो
“इमारत” को तोड़ने की बजाय “मरम्मत” कीजिए
7. “छल” कुछ समय के लिए “विजय” और “प्रसन्नता” दिला सकता है
लेकिन हमेशा के लिए “बरबादी” के द्वार खोल देता है
“शकुनि” के “छल” ने “कौरवों” को कुछ समय के लिये राज्य तो दे दिया
लेकिन हमेशा के लिए “शकुनि”सहित “कौरव वंश” को “समाप्त” कर दिया
8. मुश्किलों से भाग जाना आसान होता है,
हर पहलू जिंदगी का इम्तेहान होता है
डरने वालों को मिलता नहीं कुछ जिंदगी में,
लड़ने वालों के कदमो में जहां होता है
9. क़िस्मत से जुड़ते है ऐसे लोग ….
जो वक्त आने पर हमारी परछाई और
सही वक्त आने पर हमारा आईना बने
क्योंकि आईना कभी झूठ नहीं बोलता और
परछाई कभी साथ नहीं छोड़ती
10. “किस्मत” लेकर आना और “कर्म” लेकर जाना
बस इसी का नाम है “जिन्दगी”
इस संसार मे सबसे ईमानदार “कर्म” होता है
जो आपका प्रभुत्व, पदवी, संपत्ति
और चेहरा नहीं देखता
देखता है तो सिर्फ़ इंसान की “करतूत”
विमला की क़लम से ✍️✍️